जबलपुर :- पुरानी पेंशन योजना बहाल कराने की मांग पर अड़े कर्मचारी संघों के पक्ष में कांग्रेस भी उतर आई है। अब पूर्व मंत्री व पूर्व विधानसभा क्षेत्र के विधायक लखन घनघोरिया भी कर्मचारियों के समर्थन में आगे आते हुए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को पत्र लिखकर पुरानी पेंशन योजना बहाल करने का आग्रह किया है। इसके पहले राज्य सभा सदस्य विवेक कृष्ण तन्खा भी राजस्थान सरकार द्वारा लागू पुरानी पेंशन का हवाला देते हुए मुख्यमंत्री शिवराज से मध्यप्रदेश में भी पुरानी पेंशन योजना बहाल करने की अपील कर चुके हैं।
छत्तीसगढ़, राजस्थान का दिया हवाला
पूर्व मंत्री लखन घनघोरिया द्वारा पत्र के माध्यम से मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को अवगत कराया है कि राजस्थान और छत्तीसगढ़ सहित महाराष्ट्र सरकार द्वारा पुरानी पेंशन योजना बहाल की जा रही है। कांग्रेस शासित राज्य सरकारों द्वारा पुरानी पेंशन बहाल करने की घोषणा से मध्यप्रदेश में भी कर्मचारियों की मांग जोर पकड़ रही है। सेवानिवृत्त कर्मचारियों के लिए वृद्धावस्था में हर महीने मिलने वाली पेंशन उनके जीवन को आर्थिक मजबूती के साथ सुरक्षा प्रदान करती है। सरकारी कर्मचारी अपने बेहतर भविष्य को लेकर भी निश्चिंत हो जाता है। इसलिए राज्य के कर्मचारी पुरानी पेंशन योजना लागू करने की मांग कर रहे हैं। प्रदेश सरकार भी राजस्थान सरकार की तर्ज पर पुरानी पेंशन योजना लागू करने के आदेश शीघ्र प्रसारित करें।
कर्मचारी संघ पहले से है लामबंद
विदित हो कि पुरानी पेंशन योजना बहाल कराने कर्मचारी संघ पहले से ही लामबंद है। मध्यप्रदेश तृतीय वर्ग शासकीय कर्मचारी संघ अध्यापक प्रकोष्ठ ने अंशदायी पेंशन बंद कर पुरानी पेंशन योजना लागू करने की मांग की है। संघ के प्रांतीय महामंत्री योगेंद्र दुबे ने जारी बयान में बताया कि मध्यप्रदेश सरकार द्वारा अध्यापक संवर्ग व प्रदेश के लगभग पांच लाख से अधिक कर्मचारियों को नवीन अंशदायी पेंशन योजना का लाभ देते हुए कर्मचारी के वेतन से 10 प्रतिशत शासन 14 प्रतिशत का अंशदान कर रही है। जबकि केंद्र सरकार द्वारा नवीन अंशदायी पेंशन योजना के तहत कर्मचारियों को 14 प्रतिशत का शासकीय अंशदान दिया जा रहा है। संघ के मुकेश सिंह, आलोक अग्निहोत्री, सुनील राय, अजय सिंह ठाकुर, मनीष चौबे, नितिन अग्रवाल, गगन चौबे, श्यामनारायण तिवारी, प्रणव साहू , राकेश उपाध्याय, मनोज सेन, राकेश दुबे , गणेश उपाध्याय आदि ने मुख्यमंत्री से मांग की है कि नवीन अंशदायी पेंशन योजना को बंद कर एक समान पुरानी पेंशन योजना लागू करने की मांग की है